25 मार्च को धुलेंडी पर्व पर महाकाल मंदिर के गर्भगृह में लगी आग से 13 लोगों के घायल और एक सेवक की मौत के बाद महाकाल मंदिर की सुरक्षा पर उठ रहे सवालों के बीच मुम्बई से फायर सेफ्टी की टीम महाकाल मंदिर पहुंची। यहाँ टीम ने गर्भगृह सहित मंदिर के भीड़ भाड़ वाले क्षेत्र की जांच की। टीम अब दो दिन बाद उज्जैन कलेक्टर को अपनी रिपोर्ट सौंपेगी।

मुंबई से आई फॉरेंसिक फायर विशेषज्ञों की टीम बुधवार को महाकाल मंदिर पहुंची। सुबह भस्म आरती से लेकर शाम तक मंदिर के गर्भ गृह ,नंदी हाल गणेश मंडपम,कार्तिकेय मंडपम, टनल,सभा मंडप में जाकर टीम ने एक एक कोने पर इंच टेप से नपती कर मंदिर के इन हिस्सों में एक बार में कितने लोगो को रहना चाहिए , कितने लोग खड़े रह सकते है साथ ही इमरजेंसी में श्रद्धालुओं के बाहर निकलने और आग से बचने के क्या क्या उपाय हो सकते है इस पर दिन भर जांच की। फायर सेफ्टी के मुम्बई से अधिकारी निलेश उकुंडे ने बताया कि टीम दूसरी बार आई है इससे पहले आग कैसे लगी ये जांचने आई थी। इस बार महाकाल मंदिर में सुरक्षा के क्या क्या उपाय करने है इसकी स्टडी कर रहे है। टीम अपनी जांच रिपोर्ट दो दिन में उज्जैन कलेक्टर को सौपेगी।

भस्म आरती में भी देखी सुरक्षा व्यवस्था-

बाबा महाकाल के दरबार पहुंची टीम ने गर्भगृह के बाहर अंदर टेप से नपती की। फायर सेफ्टी की टीम ने आग लगने पर श्रद्धालुओं के रेस्क्यू,फायर सेफ्टी के इंतजाम,रिकमंडेशन, भस्म आरती में भक्तों के बैठने के दौरान अनहोनी होने पर उनका रेस्क्यू सहित अन्य बिन्दुओ पर भी जाँच की है। इसी रिपोर्ट के आधार पर जल्द आने वाली नेशनल बिल्डिंग कोड की टीम भी जाँच करेगी और अपनी रिपोर्ट कलेक्टर को सौंपेगी।

NBC की टीम जल्द आएगी-

महाकाल मंदिर में आने वाले लाखों श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए महाकाल मंदिर इमारत की जांच और मंदिर के किस क्षेत्र में कितने श्रद्धालु एक बार में रुक सकते है। यह जांचने के लिए जल्द ही NBC नेशनल बिल्डिंग कोड की टीम महाकाल मंदिर पहुचेंगी। टीम मंदिर के गर्भगृह, नंदी हाल, कार्तिकेय मंडपम, गणेश मंडपम, सभा मंडपम, टनल, एंट्री और एग्जिट द्वार पर जाकर देखेगी कि एक बार कितने लोगो को प्रवेश मिलना चाहिए, ताकि किसी अनहोनी पर भक्त यहाँ पर सुरक्षित रहे।

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